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रविवार, 19 अप्रैल 2020

ओपीएम कोरोना की लड़ाई में नही गभ्भीर बाहर से आने वाले वाहन चालको की नही हो रही जांच

अनूपपुर कोरोना वायरस की पहुंच अब विश्व के 200 देशों इस वायरस की जकड़ में है। 300 करोड़ से ज्यादा लोग लॉकडाउन में हुए सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कर रहे हैं। इसमे भारत सबसे प्रमुख है। 135 करोड़ लोगों को 33 दिनों तक घरों में बंद, वहीं बड़े उद्योग इस खतरे को दर किनार कर सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ा रहे हैं। देश को कोरोना वायरस के कम्युनिटी संक्रमण के खतरे से बचने के प्रशासन पूरी कोशिश कर रहा है, लेकिन इन कोशिशों के बीच बड़ी लापरवाही का मामला सामने आया है।
शहडोल जिले के ओरिएंट पेपर मिल्स अमलाई शासन की गाइडलाइंस होने के बावजूद उद्योगों विशेष आदेश के तहत मिली सशर्त छूट से पेपर उद्योग और कास्टिक सोडा यूनिट चालू है। यहा और बहरी राज्यों से आने वाले वाहनों को  बिना जांच के प्रवेश दिया जा रहा है जिससे कोरोना संक्रमण का खतरा बढ़ गया है। ओरिएंट पेपर मिल्स लॉकडाउन के नियमो का उलघंन कर वाहन चालको से कहीं अबतक कोरोना से अछूता जिला इस लापरवाही की भेट न चढ़ जाये। जानकारी के अनुसार शुक्रवार को राजस्थान से आये ट्रकों के चालको को तेज बुखार की शिकायत थी,जिन्हे ओपीएम हॉस्पिटल द्वारा बिना थर्मल स्कैनिंग के ही सामान्य दवा देकर उन्हें खुले में छोड़ दिया गया और इसकी जानकारी प्रशासन से छिपाई गई। बाद में सैंपल जाँच के लिए भेजे गए।

इसके अलावा पेपर मिल के अंदर एक ठेका श्रमिक को अचानक चक्कर आ गया और वह वही गिर गया बाद में पता चल की उसे तेज बुखार है,कम्पनी ने उसे भी आनन फानन में बिना जांच के छुट्टी देकर उसके गृह ग्राम भेज दिया, इन सब घटनाओं से पता चलता है की पेपर मिल्स प्रबंधन वैश्विक महामारी कोरोना के प्रति लड़ाई में कितने सजग और तत्पर है। इस जानकारी के बाद आसपास के ग्राम वासियों में भय का माहौल है।

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