रूक रूककर हो रही बारिश से मौसम
रहा ठंड, तापमान में गिरावट किन्तु ठंड से राहत नही
अनूपपुर/अमरकंटक। पुराने साल की विदाई और नए साल
की शुभकामनाओं के साथ 31 दिसम्बर मंगलवार-बुधवार की
अद्र्धरात्रि जिलावासियों ने बारिश की बौछारों के बीच नववर्ष का अभिनंदन किया।
परिजनों को नववर्ष की बधाई दी और बड़े-बुजुर्गो का आशीष लिया। इसके अलावा मोबाईल
के वाट्सएप, ब्लॉग, मेल सहित अन्य संचार माध्यमों से संवाद
आदान प्रदान किए गए। जबकि अगली सुबह धार्मिक आस्थाओं में नववर्ष की शुरूआत अमरकंटक
स्थित नर्मदा नदी सहित अन्य सोन, तिपान, जोहिला,
केवई
सहित अन्य नदीघाटों पर डुबकी लगा सूर्य को अघ्र्य देते हुए मंदिरों में विशेष पूजा
अर्चना के साथ की गई। बारिश के कारण अन्य वर्षो की भांति इस वर्ष पवित्र नगरी
अमरकंटक के नर्मदा मंदिर सहित अन्य धार्मिक स्थलों के दर्शन करने पहुंचे स्थानीय
श्रद्धालुओं और सैलानियों की भीड़ भी कम ही रही। जबकि बारिश के कारण जिले के अनेक
पिकनिक स्पॉट पर नववर्ष का जश्न फीका रहा, पिकनिक स्पॉट पर सन्नाटे पसरे
थे। यहां तक ठंडक के कारण मुख्य मार्गो पर भी चहल पहल कम बनी थी। लोग ठंड के कारण
अपने घरों में ही दुबके रहे और परिजनों के साथ नववर्ष का जश्न मनाया। अमरकंटक में
चढ़ते दिन के साथ वीरानी पसरती चली गई। जानकारों के अनुसार अमरकंटक में नववर्ष के
मौके पर अमूमन लगभग २०-२५ हजार से अधिक सैलानी दर्शन के लिए उमड़ते हैं। लेकिन इस
वर्ष हजारों के आसपास नजर आया। अनूपपुर जिलावासियों ने भी इस जश्न के अभिनंदन में
होटलों में साउंड पर थिरक कर नववर्ष के आगमन का जश्न मनाया। अधिकांश लोगों ने नई
खुशियों की शुरूआत सुबह से ही आसपास के नदीघाटों पर स्नान कर मंदिरों में शंखनाद
कर ईष्टदेवों की पूजा अर्चना से की। जिला मुख्यालय स्थित बूढ़ी मढिय़ा, खेरमाई,
माता
दुर्गा मंदिर, रामजानकी मंदिर, साईं मंदिर सहित हनुमान व
शिवमंदिर, सामतपुर स्थित मारूति मंदिर, सहित सोन
स्थित शिवमंदिरों में पूजा अर्चना के लिए लोगों की आवाजाही लगी रही। जबकि कोतमा
में शारदा-काली मंदिर, पंचायती माता दुर्गा मंदिर, शिवमंदिर,
बाबा
ठाकुरधाम मंदिर, काली मंदिर, हनुमान मंदिर सहित अन्य मंदिरों में
पूजा पाठ कर नए साल का स्वागत किया। इसके अलावा जैतहरी, बिजुरी,
रामनगर,
राजनगर,
भालूमाड़ा,
सहित
बदरा व अन्य स्थानों पर लोगों ने आस्था के साथ नववर्ष का अभिनंदन किया।
ठंड से कांपी अमरकंटक की वादियां
पवित्र नगरी अमरकंटक में बारिश
के बाद सुबह से कंपकंपाती ठंड के कारण पूरी वादी में ठंडक व्याप्त है। वहीं सुबह
से रूक रूककर हो रही बारिश के कारण पर्यटकों ने अमरकंटक की वादियों के लुफ्त उठाने
से दूरी बनाई। सुबह से श्रद्धालुओं का जत्था नर्मदा कुंड में डुबकियां लगाकर उगते
सूर्य वं माता नर्मदा की पूजा अर्चना तक सीमित रही। वहीं पर्यटकों के अभाव में
प्रसिद्ध स्थान सोनमूड़ा, कपिलधारा, दूधधारा,
माई
की बगिया, कल्याण आश्रम, निर्माणाधीन विश्वप्रसिद्ध जैन मंदिर,
जालेश्वर
महादेव स्थल पर नाममात्र के श्रद्धालु व पर्यटक नजर आए।
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