ग्रामीणो ने की पुलिस कर्मी पर
कार्यवाही की मांग, शव उतारने से किया मना
अनूपपुर। कोतवाली थाना क्षेत्र अंतर्गत ग्राम पसला में 11
दिसम्बर को मामले की विवेचना में पहुंचे प्रधान आरक्षक श्याम शुक्ला ने पूछताछ के
दौरान युवक के मन में डर बैठा कर रूपए का जुगाड़ कर लाने को कहा गया, जहां
रूपए देने में असमर्थ 34 वर्षीय युवक बिसाहूलाल सिंह द्वारा
प्रधान आरक्षक को घर में बैठा रूपए लाने की बात कह घर से निकला और अपने घर के पीछे
ही पेड़ फांसी लगाकर आत्महत्या कर लिया। जिसकी जानकारी लगते ही ग्रामीणो ने
आक्रोशित होकर प्रधान आरक्षक के खिलाफ एफआईआर दर्ज करने की मांग करते हुए पुलिस को
पेड़ से शव नीचे उतारने से मना कर दिया गया, वहीं कोतवाली
पुलिस के लगातार 6 घंटे की समझाईश और प्रधान आरक्षक के खिलाफ कार्यवाही किए जाने
का आश्वासन के पश्चात ही ग्रामीणो ने शव को नीचे उतारने की सहमति प्रदान की,
जिसके
बाद पुलिस ने शव को नीचे उतार पंचनामा तैयार करते हुए शव को पोस्टमार्टम के लिए
जिला चिकित्सालय भेजा गया। देर शाम पुलिस अधीक्षक किरणलता केरकेट्टा ने प्रधान
आरक्षक श्याम शुक्ला को निलंबित कर दिया।
कोतवाली प्रभारी प्रफुल्ल राय ने
बताया की मृतक बिसाहूलाल सिंह गोंड की पत्नी गुड्डी बाई ने 4 दिसम्बर को
अपने पति के खिलाफ थाने में मारपीट की शिकायत दर्ज कराई थी। जिसमें उसने बताया था
कि जब वह खाना पका रही थी तो उसके पति ने उससे पानी की मांग की, जहां
पत्नी खाना बनाने की बात कहते हुए खुद ही पानी लेकर पीने की बात कही, जिस
पर पति ने गुस्से में आकर उसकी पिटाई कर दी थी। मृतक के भाई उत्तम सिंह और
ग्रामीणों का आरोप है कि 4 दिसम्बर की शिकायत में 6
दिसम्बर को प्रधान आरक्षक श्याम शुक्ला विवेचना करने आए थे। इसके बाद पुन: बुधवार की सुबह आए और 10 हजार रूपए
की मांग करने लगे एवं रूपए नही देने पर जेल भेज देने की बात कही गई। जिस पर मृतक
बिसाहूलाल सिंह ने घर में पैसा नहीं होने पर गांव से पैसे की व्यवस्था कर लाने को
कह कपड़े पहनकर घर से गांव की ओर निकला। लेकिन कुछ समय बाद उसने अपने ही घर के
पीछे आम के पेड़ में फांसी लगाकर झूल गया। जिसकी जानकारी लगते ही पुलिस कर्मी मौके
से भाग निकला। जिसकी जानकारी ग्रामीणो को मृतक के पुत्र ने देते हुए पूरी घटना बताई।
घटना सुनकर ग्रामीण आक्रोशित हो गए। वहीं घटना की जानकारी लगते ही एसडीओपी एसएन
प्रसाद, प्रशिक्षु डीएसपी प्रिया सिंह, थाना प्रभारी
प्रफुल्ल राय तथा एफएसएल विशेष आनंद नागपुरे सहित पुलिस की टीम मौके पर पहुंची और
शव उतारने का प्रयास किया, तो ग्रामीणों ने संबंधित पुलिसकर्मी के
खिलाफ बिना शिकायत दर्ज किए शव उतारने से मनाही कर दी। इस दौरान पुलिस द्वारा
ग्रामीणों व परिजनों को समझाने का भरसक प्रयास किया, लेकिन
ग्रामीण व परिजन कार्यवाही को लेकर अड़े रहे। दोपहर तक पुलिस द्वारा ग्रामीणों को
समझाने का प्रयास जारी रहा, जिसके बाद परिजनों और ग्रामीणों के
विरोध को देखते हुए वरिष्ठ अधिकारियों को सूचना देकर कार्यवाही के प्रति आश्वस्त
किया गया। वहीं प्रधान आरक्षक श्याम शुक्ला पर कार्यवाही को लेकर परिजनों द्वारा
लिखित आवेदन मौके पर ही दिया गया। जिसके बाद पुलिस ने शव को शाम 4 बजे
पेड़ से नीचे उतारा।
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