चयनित विद्यार्थियों तथा अभिभावकों से कलेक्टर एवं एसपी ने किया संवाद
अनूपपुर। पढ़ाई के लिए मेहनत जरूरी है।
इसका कोई शार्टकट नही होता। हर दिन मेहनत करने से ही सफलता अर्जित होती है।
विद्यार्थियों को पढ़ाई ईमानदारी से करना चाहिए। पढ़ाई के लिए किसी तरह का तनाव नही
लेना चाहिए। विद्यार्थी यह मानकर चले कि उनका काम सिर्फ पढ़ाई करना है। एकलव्य
आवासीय विद्यालय अनूपपुर के ऑडोटोरियम में जिले में नीट एवं जेईई की निःशुल्क
कोचिंग के चयनित विद्यार्थियों, अभिभावकों
तथा कोचिंग कोर ग्रुप के शिक्षकों की संयुक्त बैठक को संबोधित करते हुए कलेक्टर आशीष
वशिष्ठ ने कहीं।
बैठक में भारतीय प्रशासनिक सेवा
मध्यप्रदेश संवर्ग 2022 बैच के 8 परिवीक्षाधीन अधिकारी जो मध्यप्रदेश दर्शन सह
अध्ययन भ्रमण के तहत जिले के प्रवास पर होने से इस मौके पर उपस्थित हुए। बैठक में
जेईई, नीट निःशुल्क कोचिंग के लिए आयोजित मॉक टेस्ट
से चयनित विद्यार्थी, उनके अभिभावक तथा शिक्षक उपस्थित रहें।
इस अवसर पर कलेक्टर ने बताया कि जिला
प्रशासन द्वारा नवाचार के तहत जिले के विद्यार्थियों को जेईई एवं नीट की निःशुल्क
कोचिंग उपलब्ध कराने के लिए अनूपपुर, जैतहरी, कोतमा एवं पुष्पराजगढ़ में आवश्यक व्यवस्थाएं की
जा रही हैं। 10 जुलाई से कोचिंग क्लास प्रारंभ होगी। उन्होंने बताया कि जिले के
चार स्थानों में 50-50 विद्यार्थियों के बैच तैयार किए गए हैं। कोचिंग क्लास सुबह
6 से 9 बजे तक आयोजित की जाएगी। जिसमें विषय-विशेषज्ञ शिक्षक विद्यार्थियों को
प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कराएंगे। कोचिंग क्लास में देश की प्रतिष्ठित कोचिंग
संस्थाओं की अध्ययन सामग्री, मॉक
टेस्ट की सामग्री उपलब्ध कराने के लिए अनुबंध किया गया है। किताबों का नवीन
संस्करण कोचिंग के विद्यार्थियों को उपलब्ध कराया जाएगा। उन्होंने विद्यार्थियों
को पूरे मनोयोग तथा ईमानदारी से प्रतिदिन कोचिंग क्लास को ज्वाईन करने तथा कोचिंग
एवं विद्यालय की पढ़ाई समर्पित भाव से करने के लिए मोटीवेट किया।
कलेक्टर, एसपी ने विद्यार्थियों और अभिभावकों के
जिज्ञासाओं को किया शांत
जेईई एवं नीट की निःशुल्क कोचिंग के
लिए मॉक टेस्ट के माध्यम से चयनित विद्यार्थियों तथा उनके अभिभावकों से कलेक्टर आशीष
वशिष्ठ एवं पुलिस अधीक्षक जितेन्द्र सिंह पवार ने संवाद करते हुए उनकी जिज्ञासाओं
से संबंधित प्रश्नों का समाधानकारक जवाब दिए। पुलिस अधीक्षक जितेन्द्र सिंह पवार
ने विद्यार्थियों को लक्ष्य की प्राप्ति के लिए पूर्ण परिश्रम से अध्ययन कार्य
करने को कहा। उन्होंने विद्वानों के उदाहरण देते हुए विद्यार्थियों का मार्गदर्शन
किया।
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