सहायक आयुक्त कार्यालय में पदस्थ सहायक संचालक की भूमिका
संदिग्ध,लगे आरोप
अनूपपुर। आयुक्त जनजातीय कार्य विभाग भोपाल के अनुसूचित जनजाति बस्ती
विकास मद से वर्ष 2023-24 नियम 2018 के परिपालन पर जिले को आवंटित राशि 112.36 लाख
के विरूद्ध कार्यो की तकनीकी स्वीकृति के अनुमोदन उपरांत कलेक्टर आषीष वषिष्ठ ने 9
दिसम्बर 2023 को प्रशासकीय एवं वित्तीय स्वीकृति प्रदाय कर जिले के 21 कार्यो में
से 8 छात्रावासों, 7 विद्यालयों में नलकूप खनन समर्सिबल पंप का कार्य आदेश पारित
किया गया। जिसमें छात्रावासों में पालक शिक्षा समिति एवं विद्यालयों में शाला
प्रबंधन एवं विकास समिति को निर्माण एजेंसी बनाया गया तथा उक्त कार्यो का सुपरविजन
व सत्यापन कार्यपालन यंत्रिकी लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग द्वारा किया जाना है।
लेकिन सहायक आयुक्त कार्यालय में पदस्थ सहायक संचालक अशोक शर्मा ने नियमविरूद्ध
तरीके से हैण्डपंप खनन पर हस्ताक्षेप करते हुए लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग के 3
मई 2023 के पुराने आदेशों का हवाला देते हुए धोखाधड़ी कर छात्रावास के अधीक्षकों
एवं विद्यालयों के प्राचार्यो पर दवाब बनाकर मेमर्स गणेष बोर बेल शहडोल से दबाब देकर
जबरन कार्य करवाये जाने का आरोप लगा है।
जानकारी के अनुसार कार्यालय सहायक आयुक्त जनजातीय विभाग
अनूपपुर में पदस्थ सहायक संचालक द्वारा लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग अनूपपुर में
रजिस्टर्ड फर्म को छोड़कर पड़ोसी जिला शहडोल के मेसर्स गणेश बोर बेल से सांठगांठ
करते हुए उसे लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग अनूपपुर का एक पुराने आदेश क्रमांक
116, 3 मई 2023 का पत्र का हवाला देकर उक्त छात्रावासों के
अधीक्षकों एवं विद्यालयों के प्राचार्यो से जनजातीय कार्य विभाग के सहायक आयुक्त
द्वारा उक्त कार्य को करवाये जाने की बात कहते हुए कार्य करवाया गया है। जबकि उक्त
विद्यालयों एवं छात्रावासों में नलकूप खनन समर्सिबल पंप का आदेश कार्यालय कलेक्टर
जनजातीय कार्य विभाग अनूपपुर के आदेश 9 दिसम्बर 2023 को किया गया है। आखिकर मेसर्स
गणेश बोर वेल को 6 माह पुराना आदेश का दुरूपयोग क्यो किया गया, यह जांच का विषय है।
छात्रावासों एवं विद्यालयों में होना था नलकूप खनन समर्सिबल
पंप
जिले के 8 छात्रावासों एवं 7 विद्यालयों में नलकूप खनन
समर्सिबल पंप के कार्यो की प्रशासकीय स्वीकृति आदेश 9 दिसम्बर 2023 को जारी हुआ
है। जिसमें आदिवासी सीनियर उत्कृष्ट कन्या छात्रावास अनूपपुर, अनुसूचिज जाति कन्या महाविद्यालय छात्रावास परिसर निर्माण
कार्य, आदिवासी सीनियर उत्कृष्ट बालक छात्रावास अनूपपुर, आदिवासी उत्कृष्ट कन्या छात्रावास जैतहरी, अनुसूचिज जाति महाविद्यालय बालक छात्रावास अनूपपुर, आदिवासी बालक आश्रम अंग्रेजी माध्यम अनूपपुर, आदिवासी कन्या छात्रावास कोतमा, अनुसूचिज जाति छात्रावास कोतमा, शासकीय हाई स्कूल छिल्पा, शासकीय
हाई स्कूल देवरी, शासकीय सीएलके उमा. विद्यालय बिजुरी, शासकीय मॉडल उमा. विद्यालय कोतमा, शासकीय उमा. विद्यालय कन्या कोतमा, शासकीय हाई स्कूल बैहाटोला एवं शासकीय स्कूल पथरौड़ी है। जिनमें
उक्त प्रत्येक कार्यो के लिए वित्तीय स्वीकृति राशि 3.32 लाख रूपए है।
अधीक्षको एवं प्राचार्यो को पुराने आदेष पर किया गया भ्रमित
पूरे मामले में आदिवासी विभाग के सहायक संचालक व मेमर्स गणेश
बोर वेल शहडोल द्वारा जिले के विद्यालयों एवं छात्रावासों में स्वीकृत बोरवेल वा
समर्सिबल के कार्यो के लिए कार्यालय कार्यपालन यंत्री, लोक स्वास्थ्य यांत्रिकी विभाग अनूपपुर के 6 माह पुराने आदेष
जिसमें जिले में साधारण नलकूप खनन एवं हैण्डपंप स्थापना कार्य हेतु दिए गए
कार्यदेश को दिखाया गया, जबकि विद्यालयों एवं छात्रावासों में
नलकूप खनन एवं हैण्डपंप स्थापना कार्य स्वीकृत ही नही है। पूरे मामले में जिस आदेश
को लेकर प्राचार्यो एवं अधीक्षकों को भ्रमित किया गया उसमें लोक स्वास्थ्य
यांत्रिकी विभाग अनूपपुर के एसडीओ ने उक्त कार्यो के लिए किसी भी तरह का मेसर्स
गणेश बोर बेल के नाम पर कार्य करने संबंधित आदेश जारी ही नही किया गया है।
बिना निविदा प्रकाशन व टेंडर के कार्य
जिले के 8 छात्रावासों, 7
विद्यालयों में नलकूप खनन समर्सिबल पंप एवं 6 ग्राम पंचायतों में विद्युतीकरण हेतु
कुल 21 कार्यो की प्रशासकीय स्वीकृति 112.36 लाख के कार्यदेश पर सहायक आयुक्त
जनजातीय कार्य विभाग अनूपपुर द्वारा न तो कोई निविदा निकाली गई और न ही उक्त
कार्यो को करने के लिए टेंडर प्रक्रिया अपनाई गई। जिसके कारण लोक स्वास्थ्य
यांत्रिकी विभाग अनूपपुर में पंजीकृत फर्म इस कार्यो में अपनी सहभागिता नही निभा
सकें साथ ही उक्त कार्यो के लिए कलेक्टर, सहायक
आयुक्त सहित प्राचार्यो व छात्रावास के अधीक्षको को भ्रम में रखकर पुराने आदेश का
हवाला देकर मेसर्स गणेश बोर बेल शहडोल द्वारा धोखाधड़ी की गई है।
सहायक आयुक्त, जनजातीय
कार्य विभाग अनूपपुर सरिता नायक ने कहा कि आपके द्वारा मामला संज्ञान में लाया गया
है, जिसकी विधिवत अधीक्षको एवं प्राचार्यो को बुलाकर उनके बयान एवं
समस्त दस्तावेजों का परीक्षण के उपरांत कार्यवाही की जाएगी साथ उक्त फर्म के सही
कार्यो पर ही पेमेंट करवाया जाएगा।
लोक स्वास्थ्य यंत्रिकी विभाग के प्रभारी एसडीओ कोतमा दीपक
साहू ने बताया कि विभाग द्वारा किसी तरह का आदेष नही दिया
गया है, हमें सिर्फ मॉनीटरिंग व सत्यापन का कार्य दिया गया है, अगर उक्त फर्म द्वारा अगर फर्जी या पुराना आदेश का हवाला देकर
कार्य किया गया है, तो संबंधित विभाग को एफआईआर दर्ज करवानी चाहिए।
लोक स्वास्थ्य यंत्रिकी विभाग एसडीओ अनूपपुर नीलिमा सिंह ने कहा कि इस संबंध में मुझे कोई नही जानकारी नही है, लेकिन सहायक आयुक्त कार्यालय में पदस्थ कोई शर्मा जी द्वारा बताया गया था यह वहीं जानते हैं।